25 हजार घरों को पीएम सूर्यघर बनाने का लक्ष्य…प्रबंध निदेशक भीमसिंह कंवर ने की समीक्षा


रायपुर। प्रधानमंत्री सूर्यघर योजना के तहत इस वित्तीय वर्ष में छत्तीसगढ़ के 25 हजार घरों को रोशन करने का लक्ष्य रखा गया है। इन घरों में एक से तीन किलोवाट तक क्षमता के सोलर संयंत्र स्थापित किये जाएंगे, जिससे लोग अपने घर की छतों पर तीन किलोवाट के संयंत्र से हर महीने 300 यूनिट बिजली का उत्पादन कर पाएंगे। इस योजना में 50 हजार से 78 हजार रुपए तक की सब्सिडी सीधे उपभोक्ताओं के खाते में आएगी।


छत्तीसगढ़ स्टेट पॉवर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी के प्रबंध निदेशक श्री भीमसिंह कंवर ने मुख्यालय स्थित सेवाभवन में पीएम सूर्यघर योजना की प्रगति की समीक्षा बैठक ली। उन्होंने सभी 18 वृत्तों के अधीक्षण अभियंताओं को निर्देशित किया कि इस योजना का व्यापक प्रचार प्रसार करें।

भारत सरकार के नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरआई) ने पीएम सूर्यघर योजना की शुरुआत 13 फरवरी को की थी। उक्त योजना में 1 किलोवाट के संयंत्र पर 30 हजार रुपए, 2 किलोवाट के संयंत्र पर 60 हजार और 3 किलोवाट पर 78 हजार रूपए का केंद्रीय अनुदान प्रदान किया जाएगा।एक किलोवाट सौर संयंत्र से प्रतिदिन 4 यूनिट तक औसत बिजली उत्पादन होगा। तीन किलोवाट में प्रतिदिन 12 यूनिट बिजली पैदा होगी।

यदि उपभोक्ता इतनी बिजली खपत नहीं करता तो इसका क्रेडिट से बिल में तय सौलर टैरिफ के अनुसार एडवांस जमा कर दिया जाएगा। उपभोक्ता अपने घर के बिजली मीटर में संबद्ध भार (लोड) के आधार पर उतने ही भार का संयंत्र लगाने के लिए पात्र होगा। इसके लिए पीएमसूर्यघर योजना के पोर्टल या पीएम सूर्यघर मोबाइल एप में जाकर पंजीयन कराना होगा। पंजीयन पूरा होने पर विभाग के अधिकारी मौके पर जाकर स्थल निरीक्षण करेंगे, जिसके बाद सौर प्लांट को स्वीकृति प्रदान की जाएगी। सोलर प्लांट लगने के बाद अनुदान राशि उपभोक्ता के खाते में हस्तांतरित कर दी जाएगी।

अधिकारियों ने बताया कि छत्तीसगढ़ में इस वित्तीय वर्ष में 25 हजार उपभोक्ताओं को लाभ देने का लक्ष्य है। पूरे प्रदेश में इस योजना के लिए अभी तक 6368 आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिसमें से 6216 उपभोक्ताओं के स्थल संयंत्र लगाने के लिए उपयुक्त हैं। अभी तक 312 घरों में संयंत्रों की स्थापना की जा चुकी है।

प्रबंध निदेशक श्री कंवर ने इस योजना की मुख्यालय स्तर पर साप्ताहिक समीक्षा करने के निर्देश भी दिये हैं। बैठक में मुख्य अभियंतागण सर्वश्री राजेंद्र प्रसाद, केएस भारती, एमडी बड़गईया, अतिरिक्त मुख्य अभियंता श्री एएम परियल तथा अधीक्षण अभियंता श्री एन बिंबीसार उपस्थित थे।


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