रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव के नतीजों के बाद सत्ता परिवर्तन हो गई है। वहीं अब निगम में भी राजनीतिक उथल-पुथल शुरू हो गई है। कांग्रेस को शहर की चारों विधानसभा सीटों के 70 वार्डों में मिली हार के बाद कांग्रेस के पार्षदों में भी नाराजगी है। भाजपा पार्षद दल इसे भुनाने के फिराक में नजर आ रहा है। इसे लेकर मंगलवार को भाजपा पार्षद दल की बैठक दोपहर 12 बजे आहूत की गई। इसमें महापौर एजाज ढेबर (Mayor Ajaz Dhebar) के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाये जाने को लेकर चर्चा की गई। भाजपा पार्षद दल ने महापौर से इस्तीफा देने की मांग की है। अगर इस्तीफा नहीं दिया तो उनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया जायेगा।
मीनल चौबे ने कहा कि महापौर को नैतिकता के आधार पर इस्तीफा दे देना चाहिए जिस तरह से सरकार जाते हुए पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राजयपाल को इस्तीफा सौंप दिया था। रायपुर के 70 वार्डों में भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशियों को बहुमत मिली है, उनके साथ बहुमत नहीं है। वह किस हक से महापौर की कुर्सी में बैठे है। उनको नैतिकता के आधार पर अब इतिफा दे देना चाहिए, उनके कार्यकाल में रायपुर शहर का हाल बद से भी बदत्तर रहा है, सड़कों में गड्ढो का भरमार रहा है, अवैध कब्जे की भरमार रही है। लोगों को पेय जल भी उपलब्ध नहीं हो पाया है। भाजपा पार्षदों के साथ साथ कांग्रेस के पार्षद में उनके कार्यकाल से असंतुस्ट है। आज भाजपा पार्षद दल इसी विषय पर चर्चा कर रहा है। हम जिलाधीश से बात करेंगे कि वे अविश्वास प्रस्ताव के लिए बैठक बुलाए, संगठन हमकों आगे जब भी निर्देश देगा कि हमें यह कब करना है। शहर की जनता के मंशा के अनुरूप हम महापौर का इस्तीफा लेकर रहेंगे।
वहीं अविश्वास प्रस्ताव लाए जाने के बाद मनोज वर्मा, मीनल चौबे, मृत्युंजय दुबे, प्रमोद साहू और सूर्यकांत राठौर के नाम महापौर की रेस में शामिल है।